रांची:रांची के करमटोली स्थित धुमकुड़िया भवन में सुतियामबे मुंड़हर पहाड़ बचाओ अभियान का शुक्रवार को संवाददाता सम्मेलन हुआ। संयोजक लक्ष्मी नारायण मुंडा और प्रेमशाही मुंडा ने कहा कि 17 मार्च को मुंडहर पहाड़ बचाओ अभियान चलाया जाएगा।
(1)17 मार्च दिन – रविवार को आयोजित सूतियांबे चलो! मुड़हर पहाड़ बचाओ!! रैली व जनसभा के लिए रांची एवं आसपास के जिलों और राज्य भर के आदिवासी समाज के प्रतिनिधिगण हजारों की संख्या में इस कार्यक्रम में जुटेंगे।
2. रांची जिले के कांके अंचल अंतर्गत ग्राम – सुतियांबे में आज स्थित मुड़हर पहाड़ जो आदिवासियों का ऐतिहासिक पौराणिक धरोहर है,इसकी पहचान,विशिष्टता पर लगातार चोट किया जा रहा है तथा आरएसएस-हिंदूवादी संगठनों द्वारा धार्मिक-सांस्कृतिक अतिक्रमण किया जा रहा है। वहीं जमीन माफिया-दलालों द्वारा इसकी जमीन पर कब्जा किया जा रहा है। इसे प्रकृति पूजक सरना धर्मावलंबी आदिवासी समुदाय बर्दाश्त नहीं करेगा।
3. आदिवासी समुदाय द्वारा आयोजित आगामी 17 मार्च की सुतियांबे स्थित मुड़हर पहाड़ में आयोजित रैली व जनसभा बिल्कुल लोकतांत्रिक तरीके से होगी। इसमें आदिवासी समुदाय अपनी पांच सूत्री मांगों को रखेंगे। जो निम्नलिखित है।
(A ) सुतियांबे स्थित मुड़हर पहाड़ की जमीन को अतिक्रमण मुक्त कराया जाए।
(B) सुतियांबे स्थित मुड़हर पहाड़ पर आरएसएस – हिंदूवादी संगठनों द्वारा जबरन थोपी जा रही धार्मिक, सांस्कृतिक अतिक्रमण पर रोक लगाई जाए।
(C) सुतियांबे स्थित मुड़हर पहाड़ सहित वहां की अन्य पूजास्थल/प्रतीक स्थलों का चिन्हितीकरण करके घेराबंदी किया जाए।
(D) महाराजा मदरा मुंडा के नाम पर आदिवासियों की धर्म संस्कृति – संस्कृति, परंपरा , रीति-रिवाज की रक्षा और विकास के लिए एक बोर्ड गठन किया जाए।
(E) सुतियांबे स्थित मुड़हर पहाड़ और उससे जुड़े स्थलों- धरोहरों को आदिवासियों की धार्मिक – सांस्कृतिक स्थल राज्य सरकार द्वारा घोषित किया जाए।
4. हमलोग राज्य भर के सभी आदिवासी समुदाय और आदिवासी संगठन/ सरना समितियों से अपील करते हैं कि हमारे इस आंदोलन को सहयोग करें और बढ़ चढ़ कर हिस्सा लें।
5. हमलोग मांग करते हैं कि राज्य की मुख्यधारा की सभी राजनीतिक पार्टियों भाजपा, झामुमो, कांग्रेस आजसूपा इसको लेकर अपनी नीति स्पष्ट करें इस पर राजनीतिक रोटी ना सकें।
6. हमलोग झारखंड के सभी समुदाय के लोगों से अपील करते हैं कि आदिवासियों की इस धरोहर को बचाये रखने का सहयोग करें।
7. हमलोग राज्य के मुख्यमंत्री चंपाई सोरेन और उसकी सरकार से मांग करते हैं कि सुतियांबे स्थित मुड़हर पहाड़ पर धार्मिक – सांस्कृतिक और जमीन का अतिक्रमण रोकने के लिए उपायुक्त की अध्यक्षता में एक कमिटी बनाये । जिसमें राजस्व अधिकारी, पुलिस अधिकारी, आदिवासी संगठनों, परंपरागत पड़हा समिति/ स्थानीय सरना समिति/ जनप्रतिनिधियों को शामिल कराकर इसका निदान किया जाए।
इस संवाददाता सम्मेलन में केंद्रीय धूमकुड़िया अध्यक्ष सुनील टोप्पो , आदिवासी जन परिषद के अध्यक्ष प्रेमशाही मुंडा,पाहन संघ के अध्यक्ष जगदीश पाहन,बारह पडहा कांके के संरक्षक सधन उरांव, केंद्रीय सरना संगोम समिति खूंटी के अध्यक्षा दुर्गावती ओड़ेया, कांके रोड सरना समिति के अध्यक्ष डब्लू मुंडा,वीर बिरसा स्मारक समिति टैगोर हिल मोरहाबादी, रांची के कार्यकारी अध्यक्ष अमित मुंडा, सुतियांबे के पाहन अरविंद पाहन शामिल थे।